कपास से मोहभंग: पंजाब में उत्पादन गिरा, विविधीकरण को झटका
2025-07-21 16:32:17
पंजाब के किसानों का कपास की खेती से मोहभंग: उत्पादन में बड़ी गिरावट, फसल विविधीकरण के प्रयासों को झटका
मालवा क्षेत्र कपास उत्पादन के लिए जाना जाता है, लेकिन अब यहां का किसान धान और गेहूं की फसलों का रुख कर रहे हैं। न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर अनिश्चितता व गुलाबी सुंडी व सफेद मक्खी का प्रकोप किसानों के कपास की खेती छोड़ने का प्रमुख कारण माना जा रहा है।
पंजाब के किसानों का कपास की खेती से मोहभंग होता जा रहा है। इसी का नतीजा है कि इस साल प्रदेश में कपास उत्पादन में 63.48 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है। एक साल के अंदर कपास के उत्पादन में बड़ी कमी आने से सरकार के फसल विविधीकरण के प्रयासों को झटका लगा है।
पंजाब के किसानों का कपास की खेती से मोहभंग: उत्पादन में बड़ी गिरावट, फसल विविधीकरण के प्रयासों को झटका
पंजाब के किसानों का कपास की खेती से मोहभंग होता जा रहा है। इसी का नतीजा है कि इस साल प्रदेश में कपास उत्पादन में 63.48 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है। एक साल के अंदर कपास के उत्पादन में बड़ी कमी आने से सरकार के फसल विविधीकरण के प्रयासों को झटका लगा है।
न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर अनिश्चितता व गुलाबी सुंडी व सफेद मक्खी का प्रकोप किसानों के कपास की खेती छोड़ने का प्रमुख कारण माना जा रहा है। कॉटन एसोसिएशन ऑफ इंडिया की ताजा रिपोर्ट में कपास का उत्पादन कम होने की बात सामने आई है।
मालवा क्षेत्र कपास उत्पादन के लिए जाना जाता है, लेकिन अब यहां का किसान धान और गेहूं की फसलों का रुख कर रहे हैं। प्रदेश के भूजल का स्तर पहले ही गिर रहा है। 118 ब्लॉक रेड जोन में चले गए हैं और इस रिपोर्ट ने सरकार की चिंता अब और भी बढ़ा दी है। रिपोर्ट के अनुसार कपास का उत्पादन 2023-24 में 6.09 लाख से घटकर 2024-25 में 2.52 लाख गांठों तक रह गया है। इसी तरह एरिया भी 2.14 लाख से घटकर 1 लाख हेक्टेयर तक पहुंच गया है।
हरियाणा और राजस्थान में स्थिति थोड़ी बेहतर
हरियाणा और राजस्थान में भी कपास का उत्पादन पिछले साल के मुकाबले गिरा है लेकिन फिर भी स्थिति वहां थोड़ी बेहतर है। 2024-25 में हरियाणा ने 5.78 लाख हेक्टेयर में कपास की खेती की और 11.96 लाख गांठों का उत्पादन किया, जबकि राजस्थान ने 6.27 लाख हेक्टेयर में खेती की और 17.79 लाख गांठों का उत्पादन किया।
कपास की एमएसपी पर खरीद में भी गिरावट
पंजाब में कपास की एमएसपी पर खरीद में गिरावट दर्ज की गई है। मार्च में कॉटन कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट के अनुसार पंजाब में वर्ष 2024-25 में सिर्फ 2 हजार गांठों की एमएसपी पर खरीद हुई, जबकि वर्ष 2019-20 में यह आंकड़ा 3.56 लाख गांठों का था। इसी तरह 2020-21 में 5.36 लाख गांठों की एमएसपी की खरीद हुई। 2021-22 और 2022-23 के दौरान कपास का मार्केट प्राइस एमएसपी से ऊपर था, इसलिए इन दो वर्षों के दौरान एमएसपी पर खरीद नहीं हुई। वर्ष 2023-24 में सिर्फ 38 हजार गांठों की एमएसपी पर खरीद हुई।